परमात्मा शब्द नहीं जो तुम्हें पुस्तक में मिलेगा,
परमात्मा मूर्ति नहीं जो तुम्हें मंदिर में मिलेगी,
परमात्मा मनुष्य नहीं जो तुम्हें समाज में मिलेगा,
परमात्मा जीवन है जो तुम्हें अपने भीतर मिलेगा। 

  • स्वामीनारायण आरती (Swaminarayan Arti)
    स्वामीनारायण आरती (Swaminarayan Arti)

    जय स्वामीनारायण, जय अक्षरपुरुषोत्तम,अक्षरपुरुषोत्तम जय, दर्शन सर्वोत्तमजय स्वामीनारायण मुक्त अनंत सुपुजित, सुंदर साकारम्,सर्वोपरी करुणाकर, मानव तनुधारम् जय स्वामीनारायण पुरूषोत्तम परब्रह्म, श्रीहरि सहजानन्द,अक्षरब्रह्म अनादि, गुणातीतानंदजय स्वामीनारायण प्रकट सदा सर्वकर्ता, परम मुक्तिदाता,धर्म एकान्तिक स्थापक, भक्ति परित्राताजय स्वामीनारायण दशभाव दिव्यता सह, ब्रह्मरूपे प्रीति,सुह्राद्भाव अलौकिक, स्थापित शुभ रीतिजय स्वामीनारायण धन्य धन्य मम जीवन, तव शरणे सुफलम्,यज्ञपुरुष प्रवर्तित, सिद्धांतम् सुखदम्जय स्वामीनारायण, …

  • श्री सत्यनारायण जी आरती (Satynarayan Aarti)
    श्री सत्यनारायण जी आरती (Satynarayan Aarti)

    जय लक्ष्मी रमणा,स्वामी जय लक्ष्मी रमणा ।सत्यनारायण स्वामी,जन पातक हरणा ॥ ॐ जय लक्ष्मी रमणा,स्वामी जय लक्ष्मी रमणा । रत्‍‌न जडि़त सिंहासन,अद्भुत छवि राजै ।नारद करत निराजन,घण्टा ध्वनि बाजै ॥ ॐ जय लक्ष्मी रमणा,स्वामी जय लक्ष्मी रमणा । प्रकट भये कलि कारण,द्विज को दर्श दियो ।बूढ़ा ब्राह्मण बनकर,कंचन महल कियो ॥ ॐ जय लक्ष्मी रमणा,स्वामी…

  • गणगौर व्रत कथा (Gangaur Vrat Katha)
    गणगौर व्रत कथा (Gangaur Vrat Katha)

    एक समय की बात है, भगवान शंकर, माता पार्वती जी एवं नारदजी के साथ भ्रमण हेतु चल दिए। वे चलते-चलते चैत्र शुक्ल तृतीया को एक गाँव में पहुँचे। उनका आगमन सुनकर ग्राम की निर्धन स्त्रियाँ उनके स्वागत के लिए थालियों में हल्दी एवं अक्षत लेकर पूजन हेतु तुरतं पहुँच गई। पार्वती जी ने उनके पूजा भाव को…

  • मां सिद्धिदात्री(Maa Siddhidatri aarti)
    मां सिद्धिदात्री(Maa Siddhidatri aarti)

    Maa siddhidatri aarti जय सिद्धिदात्री तू सिद्धि की दाता तू भक्तों की रक्षक  तू दासों की माता, तेरा नाम लेते ही मिलती है सिद्धि तेरे नाम से मन की होती है शुद्धि!! कठिन काम सिद्ध कराती हो तुम जब भी हाथ सेवक के सर धरती हो तुम, तेरी पूजा में तो न कोई विधि है…

  • देवी महागौरी आरती
    देवी महागौरी आरती

    Devi mahagauri aarti जय महागौरी जगत की माया।जय उमा भवानी जय महामाया॥ हरिद्वार कनखल के पासा।महागौरी तेरा वहा निवास॥ चन्द्रकली और ममता अम्बे।जय शक्ति जय जय माँ जगदम्बे॥ भीमा देवी विमला माता।कौशिक देवी जग विख्यता॥ हिमाचल के घर गौरी रूप तेरा।महाकाली दुर्गा है स्वरूप तेरा॥ सती (सत) हवन कुंड में था जलाया।उसी धुएं ने रूप…

  • माँ कालरात्रि की आरती (Mata Kalratri Ki Aarti)
    माँ कालरात्रि की आरती (Mata Kalratri Ki Aarti)

    Maa Kalratri aarti कालरात्रि जय-जय-महाकाली ।काल के मुह से बचाने वाली ॥ दुष्ट संघारक नाम तुम्हारा ।महाचंडी तेरा अवतार ॥ पृथ्वी और आकाश पे सारा ।महाकाली है तेरा पसारा ॥ खडग खप्पर रखने वाली ।दुष्टों का लहू चखने वाली ॥ कलकत्ता स्थान तुम्हारा ।सब जगह देखूं तेरा नजारा ॥ सभी देवता सब नर-नारी ।गावें स्तुति…

  • मां कात्यायनी आरती |
    मां कात्यायनी आरती |

    Maa katyayni aarti जय जय अम्बे, जय कात्यायनी। जय जगमाता, जग की महारानी। बैजनाथ स्थान तुम्हारा। वहां वरदाती नाम पुकारा। कई नाम हैं, कई धाम हैं। यह स्थान भी तो सुखधाम है। हर मंदिर में जोत तुम्हारी। कहीं योगेश्वरी महिमा न्यारी। हर जगह उत्सव होते रहते। हर मंदिर में भक्त हैं कहते। कात्यायनी रक्षक काया…

  • स्कन्दमाता जी की आरती (Skandmata aarti)
    स्कन्दमाता जी की आरती (Skandmata aarti)

    जय तेरी हो स्कन्द माता।पांचवां नाम तुम्हारा आता॥ सबके मन की जानन हारी।जग जननी सबकी महतारी॥ तेरी जोत जलाता रहूं मैं।हरदम तुझे ध्याता रहूं मै॥ कई नामों से तुझे पुकारा।मुझे एक है तेरा सहारा॥ कही पहाड़ों पर है डेरा।कई शहरों में तेरा बसेरा॥ हर मन्दिर में तेरे नजारे।गुण गाए तेरे भक्त प्यारे॥ भक्ति अपनी मुझे…

  • मां कूष्मांडा की आरती (Maa Kushmanda Aarti)
    मां कूष्मांडा की आरती (Maa Kushmanda Aarti)

    कूष्मांडा जय जग सुखदानी।मुझ पर दया करो महारानी॥ पिगंला ज्वालामुखी निराली।शाकंबरी माँ भोली भाली॥ लाखों नाम निराले तेरे ।भक्त कई मतवाले तेरे॥ भीमा पर्वत पर है डेरा।स्वीकारो प्रणाम ये मेरा॥ सबकी सुनती हो जगदंबे।सुख पहुँचती हो माँ अंबे॥ तेरे दर्शन का मैं प्यासा।पूर्ण कर दो मेरी आशा॥ माँ के मन में ममता भारी।क्यों ना सुनेगी…